Ajj Da Hukamnama Sahib Sri Darbar Sahib Amritsar Sahib, Harmandir Sahib Goldentemple, Morning Mukhwak, Date:- 02-11-20, Ang. 561
Hukamnama in Hindi With Meanings
वडहंसु महला ४ घरु २ ੴ सतिगुर प्रसादि ॥ मै मनि वडी आस हरे किउ करि हरि दरसनु पावा ॥ हउ जाइ पुछा अपने सतगुरै गुर पुछि मनु मुगधु समझावा ॥ भूला मनु समझै गुर सबदी हरि हरि सदा धिआए ॥ नानक जिसु नदरि करे मेरा पिआरा सो हरि चरणी चितु लाए ॥१॥ {पन्ना 561}
पद्अर्थ: मै मनि = मेरे मन में। हरे = हे हरी! पावा = पाऊँ, मैं पा लूँ। पुछा = पूछूँ, मैं पूछती हूँ। जाइ = जा के। सतगुरै = गुरू को। पुछि = पूछ के। मुगधु = मूर्ख। समझावा = समझाऊँ।1।
अर्थ: मेरे मन में बड़ी तमन्ना है कि मैं किसी ना किसी तरह, हे हरी! तेरे दर्शन कर सकूँ। (इस वास्ते) मैं अपने गुरू के पास जा के गुरू से पूछती हूँ, और गुरू से पूछ के अपने मूर्ख मन को समझाती रहती हूँ। गलत रास्ते पर पड़ा हुआ (ये) मन गुरू के शबद में जुड़ के ही समझता है, और फिर वह सदा परमात्मा को याद करता रहता है। हे नानक! जिस मनुष्य पर मेरा प्यारा प्रभू मेहर की नजर करता है, वह प्रभू के चरणों में अपना चिक्त जोड़े रखता है।1।
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